Ahmedabad Plane Crash: अहमदाबाद विमान हादसा: ड्रीमलाइनर क्रैश में 241 की मौत, एक जीवित; NIA और केंद्रीय एजेंसियां जांच में जुटीं
गुजरात की राजधानी अहमदाबाद गुरुवार दोपहर उस समय भयावह दुर्घटना का गवाह बना जब एयर इंडिया का बोइंग 787 ड्रीमलाइनर विमान टेकऑफ के चंद क्षणों बाद ही दुर्घटनाग्रस्त हो गया। लंदन के लिए रवाना हो रही फ्लाइट AI-171 सरदार वल्लभभाई पटेल अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से उड़ान भरने के तुरंत बाद नियंत्रण खो बैठी और अहमदाबाद के मेघाणी नगर इलाके में स्थित एक मेडिकल कॉलेज परिसर से टकरा गई। इस हादसे में कुल 241 लोगों की मौत हो चुकी है, जिसमें 230 यात्री और 11 क्रू सदस्य शामिल हैं। केवल एक यात्री चमत्कारिक रूप से जीवित बच पाया है, जिसकी हालत गंभीर है और उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
घटना के बाद पूरे देश में शोक की लहर दौड़ गई है। प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति और तमाम नेताओं ने इस त्रासदी पर गहरा दुख जताया है। हादसे के बाद बचाव और राहत कार्य में तेजी लाते हुए अग्निशमन विभाग और गुजरात पुलिस ने मौके पर पहुंचकर मलबे में दबे शवों और ब्लैक बॉक्स की तलाश शुरू की।
शुक्रवार सुबह राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA), नागरिक उड्डयन मंत्रालय की एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो (AAIB), और अन्य केंद्रीय जांच एजेंसियों की टीमें घटनास्थल पर पहुंचीं। हालांकि अभी तक किसी एजेंसी ने दुर्घटना के कारणों को लेकर कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया है, लेकिन सुरक्षा एजेंसियों की सक्रियता को देखते हुए यह आशंका जताई जा रही है कि हादसे में कोई साजिश भी हो सकती है।
एयर इंडिया की ओर से जारी आधिकारिक बयान में पुष्टि की गई है कि ड्रीमलाइनर विमान में कुल 242 लोग सवार थे, जिनमें से 241 की जान चली गई। हादसे की भयावहता का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि विमान पूरी तरह जलकर खाक हो गया और आसपास के भवनों को भी भारी नुकसान हुआ है।
गुजरात पुलिस के अनुसार, प्राथमिक जांच से ऐसा लगता है कि टेकऑफ के बाद विमान में तकनीकी खराबी आई थी, लेकिन जांच पूरी होने तक कोई ठोस निष्कर्ष नहीं निकाला जा सकता। ब्लैक बॉक्स की तलाश अब भी जारी है, क्योंकि वही दुर्घटना की असली वजह से पर्दा उठा सकता है। ब्लैक बॉक्स यानी फ्लाइट डेटा रिकॉर्डर वह यंत्र होता है जिसमें उड़ान से जुड़ी सभी तकनीकी जानकारियां दर्ज होती हैं—जैसे इंजन की स्थिति, विमान का वेग, ऊंचाई, कॉकपिट कम्युनिकेशन आदि।
फायर डिपार्टमेंट के अधिकारियों ने बताया कि मलबा हटाने के लिए मेटल कटर और थर्मल इमेजिंग जैसे विशेष उपकरणों का इस्तेमाल किया जा रहा है। देर रात तक चले सर्च ऑपरेशन में कई शवों को मलबे से निकाला गया, लेकिन कुछ यात्री और क्रू सदस्य अब भी लापता माने जा रहे हैं।
सरकार ने दुर्घटना की गहन जांच के आदेश दिए हैं और पीड़ितों के परिजनों के लिए राहत और मुआवजे की घोषणा की है। एयर इंडिया ने मृतकों के परिवारों को मुआवजे के तौर पर 50 लाख रुपये देने की बात कही है, वहीं गंभीर रूप से घायल एकमात्र जीवित यात्री के इलाज का पूरा खर्च केंद्र सरकार वहन करेगी।
देश भर से मृतकों के परिजनों का अहमदाबाद पहुंचना शुरू हो गया है। हवाई अड्डे और अस्पताल के बाहर लोगों की भीड़ जमा है, जो अपनों के बारे में जानकारी पाने को बेचैन हैं। स्थानीय प्रशासन ने हेल्पलाइन नंबर जारी किए हैं और शवों की पहचान की प्रक्रिया शुरू की गई है।
यह हादसा भारत के विमानन इतिहास की सबसे भयावह घटनाओं में से एक बन गया है। जांच एजेंसियों की रिपोर्ट का पूरे देश को इंतजार है, ताकि यह पता चल सके कि यह तकनीकी चूक थी, मानवीय भूल या किसी साजिश का नतीजा।