दिल्ली के विश्वास नगर में एक दर्दनाक हादसे ने एक परिवार को हमेशा के लिए गम में डुबो दिया। सोमवार दोपहर करीब 12 बजे निर्माणाधीन इमारत में काम कर रहे एक मजदूर की करंट लगने से मौत हो गई। मृतक की पहचान बिहार के सहरसा जिले निवासी 32 वर्षीय बबलू के रूप में हुई है, जो अपने परिवार का इकलौता कमाने वाला सदस्य था। उसकी मौत ने पत्नी, दो छोटे बच्चों और बुजुर्ग माता-पिता को बेसहारा कर दिया है।
प्रत्यक्षदर्शियों के मुताबिक, बबलू अन्य मजदूरों के साथ निर्माण कार्य में लगा हुआ था, तभी अचानक उसकी तेज चीख सुनाई दी। जब साथी मजदूर दौड़कर पहुंचे, तो देखा कि वह निर्माणाधीन लोडिंग लिफ्ट के पास एक लोहे की तार को पकड़ कर खड़ा था। उस तार में बिजली का करंट दौड़ रहा था। मजदूरों ने तुरंत मुख्य बिजली सप्लाई को बंद किया और लकड़ी की मदद से बबलू को तार से अलग किया। उसे पास के एक निजी अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।
हादसे की सूचना मिलते ही थाना फर्श बाजार के एसएचओ अजय करण शर्मा और एडिशनल डीसीपी नेहा यादव मौके पर पहुंचे। फॉरेंसिक टीम ने घटनास्थल की जांच की और आवश्यक साक्ष्य जुटाए। शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है। पुलिस ने बताया कि प्रारंभिक जांच में लापरवाही का मामला सामने आया है। जिस तार से करंट लगा, वह असुरक्षित तरीके से खुला पड़ा था और आसपास कोई चेतावनी संकेत या सुरक्षा उपाय मौजूद नहीं था।
बबलू की असामयिक मौत से उसका परिवार गहरे सदमे में है। पत्नी और बच्चे बदहवासी में हैं, जबकि माता-पिता रो-रोकर बेहाल हैं। परिवार ने सरकार और प्रशासन से मुआवजे और न्याय की गुहार लगाई है। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। निर्माण स्थल पर मौजूद लोगों और ठेकेदार से पूछताछ की जा रही है। पुलिस ने कहा है कि दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
यह हादसा एक बार फिर राजधानी में निर्माण स्थलों पर सुरक्षा मानकों की अनदेखी को उजागर करता है। जब तक मजदूरों की सुरक्षा प्राथमिकता नहीं बनेगी, तब तक इस तरह की त्रासदियां होती रहेंगी और गरीब परिवार उजड़ते रहेंगे।